जोधपुर: राजस्थान हाईकोर्ट परिसर में एक युवक को फर्जी वकील बनकर पैरवी करते हुए गिरफ्तार किया गया है। इस युवक को राजस्थान हाईकोर्ट एडवोकेट एसोसिएशन के अध्यक्ष रतनाराम और अन्य पदाधिकारियों ने पकड़ा और उसे उदय मंदिर पुलिस के हवाले कर दिया। यह घटना हाईकोर्ट में वकीलों और वादकारियों की सुरक्षा को लेकर गंभीर सवाल खड़े करती है।
राजस्थान हाईकोर्ट एडवोकेट एसोसिएशन ने हाल ही में हाईकोर्ट परिसर में फर्जी वकीलों की बढ़ती गतिविधियों को देखते हुए एक विशेष सतर्कता अभियान शुरू किया था। इसी अभियान के तहत मंगलवार को हाईकोर्ट के पुराने परिसर में एक संदिग्ध युवक को देखा गया जो वकील की वेशभूषा में था और कोर्ट में केस की पैरवी कर रहा था।
एसोसिएशन के अध्यक्ष रतनाराम और अन्य पदाधिकारियों ने युवक से उसका बार काउंसिल का प्रमाणपत्र और अन्य दस्तावेज मांगे।
युवक असमंजस में पड़ गया और सही तरीके से अपने प्रमाणपत्र प्रस्तुत नहीं कर सका।
संदेह बढ़ने पर उसे तुरंत हिरासत में लेकर उदय मंदिर पुलिस स्टेशन को सौंप दिया गया।
युवक खुद को वकील बताकर कोर्ट में पैरवी करता था।
आम नागरिकों को अपने झांसे में लेकर उनकी केस फाइलिंग और पैरवी के नाम पर पैसे वसूलता था।
दस्तावेजों की कमी और फर्जी पहचान का उपयोग कर हाईकोर्ट में प्रवेश करता था।
राजस्थान हाईकोर्ट एडवोकेट एसोसिएशन के अध्यक्ष रतनाराम ने बताया कि यह पहली बार नहीं है जब फर्जी वकील कोर्ट परिसर में पकड़ा गया हो। उन्होंने कहा कि इस तरह की घटनाएं वकीलों और वादकारियों की सुरक्षा के लिए गंभीर खतरा हैं। एसोसिएशन ने पुलिस से अनुरोध किया है कि इस मामले की गहनता से जांच की जाए और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए।
उदय मंदिर पुलिस ने युवक के खिलाफ धोखाधड़ी और जालसाजी की धाराओं में मामला दर्ज कर लिया है। पुलिस अब यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि युवक कितने समय से फर्जी वकील बनकर केस लड़ रहा था और कितने लोगों को उसने ठगा।
राजस्थान हाईकोर्ट एडवोकेट एसोसिएशन ने यह भी घोषणा की है कि भविष्य में फर्जी वकीलों पर नज़र रखने के लिए विशेष सतर्कता अभियान चलाया जाएगा। एसोसिएशन ने सभी वादकारियों से अपील की है कि वे केवल लाइसेंस प्राप्त अधिवक्ताओं से ही कानूनी मदद लें।
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